*पर्यावरणविद ने पुत्र सह छतरपुर पूर्व जिला पार्षद अमित कुमार जायसवाल के साथ क्षेत्र के दो लोगों के श्राद्ध में शामिल होकर मृतक के नाम पर पौधरोपण कर कहा*
*श्राद्ध में पौधरोपण से पितरों के साथ देवता भी होते हैं प्रसन्न : कौशल व अमित*
– *माता पिता की सेवा से मुक्त हुए लोगों को उनके नाम पर अवश्य लगानी चाहिए पौधे*
फोटो पौधा लगाते व शपथ दिलाते,पर्यावरणविद कौशल
*छतरपुर,पलामू झारखंड*
विश्वव्यापी पर्यावरण संरक्षण अभियान के राष्ट्रीय अध्यक्ष सह पर्यावरण धर्मगुरु व वन राखी मूवमेंट के प्रणेता पर्यावरणविद कौशल किशोर जायसवाल ने जिले के छतरपुर अनुमंडल के अलग -अलग गांवों के दो श्राद्ध कर्म में शामिल होकर मृतक के नाम पर पौधरोपण कर श्रद्धांजलि अर्पित किया। छतरपुर के
बगया पंचायत के बंधु डीह निवासी बीरबल विश्वकर्मा की धर्मपत्नी स्वर्गीय राजकुमारी देवी और चराई पंचायत के रानीपहरी निवासी करीमन भुइयां के श्राद्धकर्म में शामिल होकर पर्यावरण धर्म के प्रार्थना के साथ पौधरोपण किया वहीं परिजनों को आर्थिक सहयोग भी किया
उन्होंने उक्त मौके पर उपस्थित लोगों को पर्यावरण धर्म के आठ मूल ज्ञान मन्त्रों की शपथ भी दिलाई
पर्यावरण धर्मगुरु कौशल ने कहा है कि लोगों को माता- पिता की सेवा से यदि मुक्ति मिल जाती हैं तो दुनियां के हरेक पुत्रों को पर्यावरण धर्मगुरु कौशल के द्वारा चलाए गए पर्यावरण धर्म के आठ मूल ज्ञान मंत्रों के तहत उनके नाम पर पौधा लगाकर उसकी सेवा करना चाहिए। क्योंकि उससे मृतक कीआत्मा को शांति मिलती है। वन राखी मूवमेंट के प्रनेता कौशल ने कहा कि हमारी हिन्दू संस्कृति में पौधों को देव तुल्य मानकर उसे पूजा करने का विधान है। क्योंकि एक वृक्ष से समस्त धरती और ब्रह्मांड पर रहने वाले जीवो को 10 तरह का लाभ मिलता है। जिसका उपभोग लोग सदियों से करते आ रहे हैं । जिसका प्रमाण हमारे धर्म ग्रंथों में उल्लेखित है।
मौके पर स्व करीमन भुइयां के पत्नी कुंती देवी, पुत्र जितन भुईयां, उप मुखिया अफजल अंसारी, पंकज सिंह स्व राजकुमारी देवी के पति बीरबल विश्वकर्मा, पुत्र रामविलास, सुरेश,, उमेश, अखिलेश, डॉ मिथिलेश विश्वकर्मा ,बगया पंचायत के मुखिया पति मुन्ना चंद्रवंशी, पूर्व मुखिया राजेंद्र यादव, सुखदेव सिंह पटेल जयराम भुइया, मुन्ना भुइया उपस्थित थे।